मंत्री तक पहुंची जांच की आंच : ED ने मंत्री आलमगीर आलम को किया समन, 14 मई को होगी पूछताछ

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 The heat of investigation reached the minister: ED summons minister Alamgir Alam, questioning will be held on May 14  The heat of investigation reached the minister: ED summons minister Alamgir Alam, questioning will be held on May 14

रांची : ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम को प्रवर्तन निदेशालय (इडी) ने समन किया है. टेंडर घोटाला, बरहरवा टोल प्लाजा मामले में इनसे 14 मई को पूछताछ की जायेगी. इडी की ओर से मंत्री आलमगीर आलम को समन भेज दिया गया है. बरहरवा टोल प्लाजा मामले में पहले से ही आलमगीर आलम इडी के राडार पर हैं. इस मामले में मुख्यमंत्री रहे हेमंत सोरेन के विधायक प्रतिनिधि पंकज मिश्रा इडी की हिरासत में हैं. इसमें साहेबगंज के तत्कालीन डीएसपी प्रमोद मिश्रा और अन्य से इडी के अधिकारियों ने पूछताछ भी कर ली है. उधर टेंडर घोटाला विवाद में आरइओ के पूर्व मुख्य अभियंता वीरेंद्र राम भी हिरासत में हैं. इनके ठिकानों पर हुई रेड के बाद ही झारखंड में टेंडर के नाम पर पैसे के खेल की परत खुली थी.

बताते चलें कि पिछले दिनों आलमगीर आलम के सरकारी आप्त सचिव संजीव लाल और उनके सहायक जहांगीर आलम के यहां इडी ने रेड की थी. रेड के दौरान 35.23 करोड़ रुपये कैश बरामद हुए थे. आप्त सचिव संजीव लाल के यहां से 10 लाख रुपये नगद भी बरामद हुए थे. इडी ने छापेमारी वाले दिन ही रात में जहांगीर आलम और संजीव लाल को हिरासत में ले लिया था. फिलहाल दोनों रिमांड पर हैं. 13 मई को संजीव लाल औऱ जहांगीर आलम की रीमांड अवधि समाप्त हो रही है, इन्हें सोमवार को पीएमएलए कोर्ट में पेश भी किया जायेगा. इडी के अधिकारी मंत्री के अन्य करिबियों की तलाश में भी हैं, जो संजीव लाल के मार्फत टेंडर निबटाने का काम कराते थे.

इडी के अधिकारियों की तरफ से कई ठेकेदारों के यहां भी रेड की गयी थी जिसमें मुन्ना सिंह, राजीव सिंह, पथ निर्माण विभाग के तीन अभियंता भी शामिल थे. इडी के अधिकारियों का मानना है कि ग्रामीण कार्य विभाग, ग्रामीण विकास विभाग और स्पेशल डिविजन में टेंडर के खेल में 10 से 15 फीसदी तक का कमीशन लिया जाता था, जिसका बंटवारा नौकरशाहों से लेकर राजनेताओं के बीच होता था. इडी की छापेमारी में जहांगीर आलम के यहां से कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर का सिफारिशी पत्र और विधायक प्रदीप यादव का पत्र भी मिला है. इसके अलावा कई ऐसे ठेकेदारों के नाम और पैसे मिले हैं, जिनसे ग्रामीण पुल-पुलिया, सड़क बनाने के नाम पर पैसे लिये गये थे. जहांगीर ने पूछताछ के सिलसिले में कई गुमराह करनेवाले कहानी-किस्सों का जिक्र तक किया है. दोनों ने अब तक यह स्वीकार नहीं किया है कि बरामद किया गया पैसा किसका है.

रांची से दीपक कुमार की रिपोर्ट..